Adhyay : 7 Mantra : 33 Back to listings एवंवृत्तस्य नृपतेः शिलोञ्छेनापि जीवतः । विस्तीर्यते यशो लोके तैलबिन्दुरिवाम्भसि Leave a comment यह प्रक्षिप्त श्लोक है और मनु स्मृति का भाग नहीं है . Related