Adhyay : 12 Mantra : 117 Back to listings एवं स भगवान्देवो लोकानां हितकाम्यया । धर्मस्य परमं गुह्यं ममेदं सर्वं उक्तवान् । Leave a comment यह प्रक्षिप्त श्लोक है और मनु स्मृति का भाग नहीं है . Related