Adhyay : 7 Mantra : 41 Back to listings वेनो विनष्टोऽविनयान्नहुषश्चैव पार्थिवः । सुदाः पैजवनश्चैव सुमुखो निमिरेव च । Leave a comment यह प्रक्षिप्त श्लोक है और मनु स्मृति का भाग नहीं है . Related