नातिकल्यं नातिसायं नातिमध्यंदिने स्थिते । नाज्ञातेन समं गच्छेन्नैको न वृषलैः सह । । ४.

यह प्रक्षिप्त श्लोक है और मनु स्मृति का भाग नहीं है .

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