सोमपास्तु कवेः पुत्रा हविष्मन्तोऽङ्गिरःसुताः । पुलस्त्यस्याज्यपाः पुत्रा वसिष्ठस्य सुकालिनः । ।

यह प्रक्षिप्त श्लोक है और मनु स्मृति का भाग नहीं है .

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