Adhyay : 2 Mantra : 45 Back to listings अध्येष्यमाणस्त्वाचान्तो यथाशास्त्रं उदङ्मुखः । ब्रह्माञ्जलिकृतोऽध्याप्यो लघुवासा जितेन्द्रियः Leave a comment यह प्रक्षिप्त श्लोक है और मनु स्मृति का भाग नहीं है . Related