Adhyay : 7 Mantra : 136 Back to listings संरक्ष्यमाणो राज्ञा यं] कुरुते धर्मं अन्वहम् । तेनायुर्वर्धते राज्ञो द्रविणं राष्ट्रं एव च । Leave a comment यह प्रक्षिप्त श्लोक है और मनु स्मृति का भाग नहीं है . Related