कृष्णपक्षे दशम्यादौ वर्जयित्वा चतुर्दशीम् । श्राद्धे प्रशस्तास्तिथयो यथैता न तथेतराः

यह प्रक्षिप्त श्लोक है और मनु स्मृति का भाग नहीं है .

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