सूत्र :पूर्वकृतफला-नुबन्धात्तदुत्पत्तिः II4/2/41
सूत्र संख्या :41
व्याख्याकार : स्वामी दर्शनानन्द सरस्वती
अर्थ : यदि मनुष्य बार-बार समाधि के लिए सत्न करे तो पूर्वजन्मकृत कर्मों की सहायता से समाधि सिद्ध हो सकती है। यदि इस जन्म में न होगी तो अगले जन्म में अवश्य होगी। अभ्यास में बड़ी शक्ति है, जब लौकिक कार्यों में किया हुआ अभ्यास निष्फल नहीं जाता, तब पारलौकिक कार्यों में यह निष्प्रभाव कैसे हो सकता है। इसी की पुष्टि में और हेतु देते हैं-