Manu Smriti
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परमं यत्नं आतिष्ठेत्स्तेनानां निग्रहे नृपः ।स्तेनानां निग्रहादस्य यशो राष्ट्रं च वर्धते ।।8/302

 
Commentary by : स्वामी दर्शनानंद जी
चोरों के पकड़ने और उनको दण्ड देने का बड़ा प्रयत्न करें क्योंकि चोरी आदि दुष्कर्मों के निग्रह (रोकने) से राजा का यश और राज्य बढ़ता है।
Commentary by : पण्डित राजवीर शास्त्री जी
राजा चोरों को रोकने के लिए अधिक से अधिक यत्न करे, क्यों कि चोरों पर नियन्त्रण होने से इस राजा के यश और राष्ट्र की वृद्धि होती है ।
Commentary by : पण्डित चन्द्रमणि विद्यालंकार
राजा को चाहिए कि वह चोरों के निग्रह में पूरा प्रयत्न करे। इनके निग्रह से राजा का यश और राष्ट्र दोनों बढ़ते हैं।
Commentary by : पण्डित गंगा प्रसाद उपाध्याय
(स्तेनानां निग्रहे) चोरी को रोकने के लिये (नृपः) राजा (परमम् यत्नम् आतिष्ठेत्) घोर प्रयत्न करें। (स्तेनानां निग्रहात् अस्य यशः राष्ट्रम च वर्धते) चोरों को रोकने से राजा का यश और राज बढ़ता है।
 
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