Manu Smriti
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क्षेत्रकूपतडागानां आरामस्य गृहस्य च ।सामन्तप्रत्ययो ज्ञेयः सीमासेतुविनिर्णयः ।।8/262

 
Commentary by : स्वामी दर्शनानंद जी
Commentary by : पण्डित राजवीर शास्त्री जी
खेत, कुआं, तालाब, बगीचा और घर की सीमा के चिन्ह का निर्णय उस गांव के निवासियों की साक्षियों के आधार पर करना चाहिए ।
Commentary by : पण्डित चन्द्रमणि विद्यालंकार
और यदि खेत, कुआं, तालाब, बगीचा या मकार की सीमा के सम्बन्ध में झगड़ा खड़ा हो, तो राजा उस झगड़े का निर्णय उस देश के मुखिया पुरुषों की साक्षि से करे।
Commentary by : पण्डित गंगा प्रसाद उपाध्याय
खेत, कुआं, तालाब, बाग, घर की सीमा के चिह्नों के विषय में सामन्त अर्थात् पड़ोसियों से पूछना चाहिये।
 
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