परस्य पत्न्या पुरुषः संभाषां योजयन्रहः । पूर्वं आक्षारितो दोषैः प्राप्नुयात्पूर्वसाहसम्

जो व्यक्ति पहले परस्त्री – गमनसम्बन्धी दोषों में अपराधी सिद्ध हो चुका है यदि वह एकान्त स्थान में पराई स्त्री के साथ बातचीत की योजना में लगा मिले तो उसको ‘पूर्वसाहस’ (८।१३८) का दण्ड देना चाहिए ।

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