मनुष्याणां पशूनां च दुःखाय प्रहृते सति । यथा यथा महद्दुःखं दण्डं कुर्यात्तथा तथा ।

. मनुष्यों और पशुओं पर दुःख देने के लिये दण्ड से प्रहार करने पर जैसा – जैसा अधिक कष्ट हो उसी के अनुसार अधिक – कम दण्ड करे ।

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