. जो स्त्री मन, वाणी और शरीर को संयम में रखकर पति के विरूद्ध आचरण नहीं करती वह पति लोक अर्थात् पति के हृदय में आदर का स्थान प्राप्त करती है और श्रेष्ठ लोग उसकी ‘पति व्रता या अच्छी पत्नी’कहकर प्रशंसा करते हैं ।
. जो स्त्री मन, वाणी और शरीर को संयम में रखकर पति के विरूद्ध आचरण नहीं करती वह पति लोक अर्थात् पति के हृदय में आदर का स्थान प्राप्त करती है और श्रेष्ठ लोग उसकी ‘पति व्रता या अच्छी पत्नी’कहकर प्रशंसा करते हैं ।